पुस्तक चर्चा पुस्तक .. कंटीले कैक्टस में फूल कवि आनन्द बाला शर्मा
विनीता पब्लिशिंग हाउस , ग्रेटर नोयडा
आई एस बी एन ..९७८ ८१ ९३४८२६ ९ ८
हार्ड बाउन्ड मूल्य २५० रु
आनंद बाला शर्मा , कविता , गीत , संस्मरण , लेखो में अपने मनोभाव व्यक्त करती हैं . आकाशवाणी से उनके प्रसारण होते रहे हैं . इन दिनो वे जमशेदपुर में रहकर अपने रचना कर्म द्वारा समाज को दिशा प्रदान करने में निरत हैं . प्रस्तुत पुस्तक में उनकी समय समय पर लिखी गई ४८ छोटी बड़ी अतुकांत कवितायें संग्रहित हैं . स्वाभाविक रूप से कविताओ के विषयो में वैभिन्य है . वे लिखती हैं
सपने पूरे होते हैं
बस उन्हें चाहिये थोड़ी जगह हवा पानी धूप
और खुला आसमान
ओढ़ने के लिये समय की चादर और
एक चाहत उनको बिखरने से बचाने के लिये .
इसी तरह के बिम्ब और प्रतीको के माध्यम से नई कविता की उन्मुक्त शब्द विन्यास शैली में प्रौढ़ कवियत्री ने स्त्री विमर्श पर कन्यादान , रिस्ते , माँ तो बस मां होती है , आंख के दो आंसू बेटियां औरत जैसी रचनायें की हैं . कारगिल युद्ध के दौरान जब एक बच्ची अपना जन्मदिन मनाने से मना कर देती है तो इस अनुभव की साक्षी रचनाका को संवेदनाओ के जिंदा होने का प्रमाण मिल जाता है और वे आस्वस्ति के साथ कविता लिख डालती हैं . कवितायें जो लिखी ही नही गईं , उनकी संग्रह की अंतिम रचना है . आशा करनी चाहिये कि भविश्य में उनसे हिन्दी जगत को ओर परिपक्व , और भी प्रयोगात्मक , और भी नये बिम्ब के साथ उपजी प्रौढ़ कवितायें मिल सकेंगी .
चर्चाकार .. विवेक रंजन श्रीवास्तव , ए १ , शिला कुंज , नयागांव ,जबलपुर ४८२००८
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